हाई ब्लड प्रेशर (हाइपरटेंशन) आज के समय में आम समस्या बन गई है। अक्सर लोग इसका कारण केवल अनहेल्दी डाइट, तनाव या जीवनशैली मान लेते हैं, लेकिन कई बार इसका जिम्मेदार हार्मोनल असंतुलन भी हो सकता है।
कौन सा हार्मोन है जिम्मेदार?
एंजियोटेंसिन II (Angiotensin II) और एड्रेनालिन जैसे हार्मोन ब्लड प्रेशर बढ़ाने में अहम भूमिका निभाते हैं। ये हार्मोन रक्त वाहिकाओं को सिकोड़कर और हृदय की धड़कन बढ़ाकर ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करते हैं। जब ये हार्मोन असंतुलित हो जाते हैं, तो उच्च रक्तचाप की समस्या पैदा हो सकती है।
हार्मोन बढ़ने के कारण
लंबे समय तक तनाव में रहने से एड्रेनालिन और कोर्टिसोल का स्तर बढ़ता है, जिससे ब्लड प्रेशर ऊपर चला जाता है।
नींद की कमी, ज्यादा नमक का सेवन और फास्ट फूड हार्मोनल असंतुलन को बढ़ाते हैं।
किडनी में रीनिन हार्मोन का असंतुलन और थायरॉइड हार्मोन की गड़बड़ी भी ब्लड प्रेशर को प्रभावित कर सकती है।
लक्षण
- बार-बार सिरदर्द या चक्कर
- सांस फूलना या थकान महसूस होना
- आंखों के सामने धुंधलापन या धड़कन तेज होना
- कभी-कभी छाती में दर्द या बेचैनी
बचाव और उपाय
- रोज़ाना हल्की एक्सरसाइज करें
- संतुलित आहार लें और नमक कम करें
- पर्याप्त नींद लें
- मेडिटेशन, योग या गहरी सांस लेने की तकनीक अपनाएँ
- ब्लड प्रेशर और हार्मोन स्तर की समय-समय पर जांच कराएँ
- अगर ब्लड प्रेशर लगातार बढ़ा हुआ है तो डॉक्टर की सलाह लेकर दवा और डाइट प्लान अपनाएँ
हाई ब्लड प्रेशर सिर्फ खानपान या उम्र का मसला नहीं है। कभी-कभी हार्मोन का असंतुलन भी इसके लिए जिम्मेदार होता है। सही जीवनशैली, संतुलित आहार और नियमित जांच से आप अपने हृदय और ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रख सकते हैं।
You may also like
स्टंटबाजी का वीडियो वायरल: बाइक पर खतरनाक करतब, पुलिस ने काटा 13 हजार का चालान!
भाजपा ने राहुल गांधी की 'वोटर अधिकार यात्रा' को बताया 'फ्लॉप'
नोएडा में यमुना खतरे के निशान से ऊपर, सैकड़ों मवेशी सुरक्षित स्थान पर शिफ्ट
प्रधानमंत्री मुद्रा योजना से राजकोट के व्यापारी ने शुरू किया कारोबार, बन रहे आत्मनिर्भर
डॉ. आदर्श कुमार बने उत्तर प्रदेश विधि विज्ञान प्रयोगशाला के निदेशक